गोरखपुर। सिविल लाइंस स्थित मांगरीष इंफ्रा प्रांगण में प्रसिद्ध शायर और कवि अरुण कुमार श्रीवास्तव ‘शम्स गोरखपुरी’ की पुस्तक ‘तख़लीक़-ए-अरुण’ का भव्य विमोचन वरिष्ठ समाजसेवी दुर्गा प्रसाद श्रीवास्तव द्वारा किया गया। उन्होंने कहा कि शम्स गोरखपुरी की रचनाएँ समाज का आईना प्रस्तुत करती हैं और पाठकों को विचार की नई दिशा देती हैं।
कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रो. चितरंजन मिश्रा, पूर्व प्रति कुलपति, महात्मा गांधी वर्धा विश्वविद्यालय (महाराष्ट्र) ने की। उन्होंने कहा कि यह पुस्तक गीत और ग़ज़ल के क्षेत्र में एक अलग छाप छोड़ती है, जो समाज में एकता और सौहार्द का संदेश देती है। प्रो. मनोज कुमार ने पुस्तक की रचनाओं को पढ़ते हुए कहा कि शम्स गोरखपुरी की भाषा शैली सशक्त है, जिसमें हिंदी, उर्दू और फ़ारसी शब्दों का सुंदर संगम है।
कार्यक्रम में प्रहलाद गुप्ता, अखिलेश चंद्र, इंजीनियर प्रदीप श्रीवास्तव सहित अनेक कवि एवं साहित्यप्रेमी उपस्थित रहे। कवि सम्मेलन व मुशायरे में अरविंद अकेला, सुमन वर्मा, सरिता सिंह, बहार गोरखपुरी समेत कई कवियों ने रचनाएँ प्रस्तुत कीं। संचालन मनजीत श्रीवास्तव ने किया। अंत में शम्स गोरखपुरी ने सभी अतिथियों के प्रति आभार व्यक्त किया।

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