बस्ती। आर्य वीर दल बस्ती द्वारा 21 से 28 मई तक जीवीएम कान्वेंट स्कूल बस्ती में बालक बालिकाओं का व्यक्तित्व विकास और आत्मरक्षा शिविर आयोजित किया गया है। यह जानकारी देते हुए ओम प्रकाश आर्य ने बताया कि आर्य वीर दल बस्ती मण्डल के चयनित स्थानों पर शिविर लगाकर युवाओं के लिए व्यक्तित्व विकास और आत्मरक्षा के अवसर उपलब्ध करा रहा है जिससे उनमें देश के सकारत्मक भाव भरे जा सकें। इससे पूर्व शिविर का उद्घाटन करते हुए श्रीमती विजयलक्ष्मी सिंह ने बताया कि बालिकाओं को प्रातः 6 बजे से 10 बजे तक और बालकों को अपराह्न 3 बजे से 6:30 बजे तक राहुल आर्य व्यायाम शिक्षक सार्वदेशिक आर्य वीर दल के द्वारा प्रशिक्षित किया जाएगा। इस दौरान बच्चों को सर्वांग सुन्दर व्यायाम, सूर्य नमस्कार, भूमि नमस्कार के साथ जूडो कराटे, लेजियम, डम्बल, योग और यज्ञ आदि का प्रशिक्षण दिया जाएगा। आचार्य देवव्रत आर्य मंडलपति आर्य वीर दल बस्ती ने बताया कि व्यक्तित्व विकास और आत्मरक्षा के गुर सीखने अत्यंत आवश्यक हैं क्योंकि बेटियां समाज एवं परिवार का निर्माण करती हैं। इस अवसर पर यज्ञ कराते हुए प्रशिक्षिका महिमा आर्य और गरुण ध्वज पाण्डेय ने बच्चों को गायत्री मंत्र का भावार्थ समझाया और इसे कंठस्थ करने की सलाह दी। इस अवसर पर राम तनय, निधि, दुर्गा, गिरीश शुक्ल ने बच्चों को सीखने में सहयोग किया।
बस्ती। आर्य वीर दल बस्ती द्वारा 21 से 28 मई तक जीवीएम कान्वेंट स्कूल बस्ती में बालक बालिकाओं का व्यक्तित्व विकास और आत्मरक्षा शिविर आयोजित किया गया है। यह जानकारी देते हुए ओम प्रकाश आर्य ने बताया कि आर्य वीर दल बस्ती मण्डल के चयनित स्थानों पर शिविर लगाकर युवाओं के लिए व्यक्तित्व विकास और आत्मरक्षा के अवसर उपलब्ध करा रहा है जिससे उनमें देश के सकारत्मक भाव भरे जा सकें। इससे पूर्व शिविर का उद्घाटन करते हुए श्रीमती विजयलक्ष्मी सिंह ने बताया कि बालिकाओं को प्रातः 6 बजे से 10 बजे तक और बालकों को अपराह्न 3 बजे से 6:30 बजे तक राहुल आर्य व्यायाम शिक्षक सार्वदेशिक आर्य वीर दल के द्वारा प्रशिक्षित किया जाएगा। इस दौरान बच्चों को सर्वांग सुन्दर व्यायाम, सूर्य नमस्कार, भूमि नमस्कार के साथ जूडो कराटे, लेजियम, डम्बल, योग और यज्ञ आदि का प्रशिक्षण दिया जाएगा। आचार्य देवव्रत आर्य मंडलपति आर्य वीर दल बस्ती ने बताया कि व्यक्तित्व विकास और आत्मरक्षा के गुर सीखने अत्यंत आवश्यक हैं क्योंकि बेटियां समाज एवं परिवार का निर्माण करती हैं। इस अवसर पर यज्ञ कराते हुए प्रशिक्षिका महिमा आर्य और गरुण ध्वज पाण्डेय ने बच्चों को गायत्री मंत्र का भावार्थ समझाया और इसे कंठस्थ करने की सलाह दी। इस अवसर पर राम तनय, निधि, दुर्गा, गिरीश शुक्ल ने बच्चों को सीखने में सहयोग किया।
No comments:
Post a Comment